Dark Mode
पेट्रोल डीजल यथावत

पेट्रोल डीजल यथावत

 
देश का आम बजट बुधवार को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने प्रस्तुत किया बजट में आयकर में एक स्लैब कम करते हुए आम आदमी को राहत देने का प्रयास किया गया है इससे कितना लाभ होगा यह आने वाले दिनों में पता लगेगा लेकिन आम आदमी की निगाह थी कि सरकार पेट्रोल-डीजल पर कुछ एक्साइज कम करेगी क्योंकि अंतरराष्ट्रीय बाजार में पेट्रोल डीजल का भाव बहुत गिर चुका है परंतु सरकार आम आदमी को राहत देने को तैयार नहीं है डीजल पेट्रोल के दाम ज्यादा होने के कारण औसत खुदरा महंगाई दर 6.8% है जो आरबीआई की 6% की ऊपरी सीमा से बाहर है उम्मीद की जा रही थी कि सरकार पेट्रोल डीजल की कीमतों में एक्साइज दर में कटौती करके कमी करेगी इससे महंगाई पर सीधा अंकुश लगेगा और आम आदमी को सीधा लाभ मिलेगा।
परंतु ऐसा लग रहा है कि मोदी सरकार अपने अंतिम बजट में ऐसा कदम उठाएगी क्योंकि तब तक सरकार को उम्मीद है कि राजस्व में उत्पादन और अन्य करो से ज्यादा फंड इकट्ठा होने लगेगा। अभी तो आलम यह है कि पेट्रोल-डीजल ने सरकार की इज्जत बचा रखी है जीएसटी भी  सरकार का खजाना भर रहा है जीएसटी के रिफंड के बारे में बजट में किसी तरह का कोई नया प्रावधान नहीं किया गया है जबकि आम व्यापारी का  कई हजार करोड रुपए जीएसटी में अटका पड़ा है यदि यह पैसा व्यापारी के पास पहुंच जाए तो व्यापार कई गुना तेजी से बढ़ सकता है सरकार ने अपने घाटे को इसी पैसे से पूरा कर रखा है।
आयकर में राह त देने से तौर पर आम आदमी को लाभ मिलेगा परंतु सरकार की यही सोच रही है कि राहत देने के बावजूद आयकर मैं पहले जैसा धन इकट्ठा होगा क्योंकि सरकारी नौकरी वालो को छोड़ें तो आम व्यापारी और बड़े उद्योग घराने अपनी आए ज्यादा घोषित करने लगेंगे क्योंकि उन्हें ज्यादा टैक्स नहीं देना पड़ेगा। अर्थशास्त्री मान रहे हैं कि बजट बहस का जवाब देते समय वित्त मंत्री कुछ और राहत दे सकती हैं क्योंकि तब तक राज्यों के बजट भी आ जाएंगे तथा सरकार को राजनीतिक कारणों से सब ठीक-ठाक दिखाना होगा।
 

Comment / Reply From

Newsletter

Subscribe to our mailing list to get the new updates!