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जयपुर: धनतेरस पर जयपुर के बाजार हुए गुलजार

जयपुर: धनतेरस पर जयपुर के बाजार हुए गुलजार

जयपुर। धनतेरस का पर्व शनिवार को धूमधाम से मनाया गया। शनिवार को त्रयोदशी तिथि के साथ शनि प्रदोष व्रत का दुर्लभ महासंयोग और साथ में ब्रह्म योग के मणिकांचन संयोग में लोगों ने जमकर खरीदारी की। शुभ मुहूर्त में लोगों ने लक्ष्मी-गणेश मूर्तियां, सोना-चांदी, तांबा, कांसा, अष्टधातु के बर्तन, दीपक, हल्दी, धनिया और कमलगट्टे की खरीदारी की।बर्तनों की दुकानों पर देर रात तक ग्राहकों की भीड़ उमड़ती रही। लोगों ने रोजमर्रा के काम में आने वाले बर्तन भी खरीदे। चांदी मंदिरों में भगवान धन्वंतरि की विशेष पूजा-अर्चना की गई। ज्योतिषाचार्य डॉ महेन्द्र मिश्रा ने बताया कि भगवान धन्वंतरि की उपासना से आर्थिक उन्नति, स्वास्थ्य लाभ और मानसिक शांति प्राप्त होती है। धनतेरस पर श्रद्धालुओं ने संध्याकालीन प्रदोष वेला में शिव पूजन, शनि स्तोत्र और शिव चालीसा पाठ किया तथा तिल के तेल के दीपक से यम दीपदान किया। मंदिरों और घरों में भी दीये जलाए गए। शनि महाराज की कृपा प्राप्ति के लिए लोगों ने पीपल के वृक्ष के नीचे दीप प्रज्वलन किया। जरूरतमंदों को काले तिल और उड़द का दान किया। शनि प्रदोष होने के कारण शिवलिंग का जलाभिषेक किया। साथ में हनुमान जी महाराज की आराधना की।धनतेरस और दीपावली पर उपहार देने की परंपरा को देखते हुए बाजारों में गिफ्ट पैक्स की भरमार रही। 500 रुपए से लेकर 10 हजार रुपए तक के बजट फ्रेंडली और रॉयल गिफ्ट पैक ने ग्राहकों को आकर्षित किए। बाजारों में काजू कतली, ड्राई फ्रुट्स और मिठाई के पैक्स की बिक्री जोरों पर रही। कई दुकानों ने ग्राहकों की सुविधा के लिए आकर्षक पैकिंग वाले नए कलेक्शन भी लॉन्च किए।धनतेरस पर राजधानी के सभी बाजारों में रौनक देखने को मिली। शुभ मुहूर्त में बड़ी संख्या में लोगों ने अपनी आवश्यकता के अनुसार खरीदारी की। शहर के प्रमुख बाजारों में दिनभर ग्राहकों की भीड़ उमड़ने के कारण यातायात पुलिस को ट्रैफिक संभालने में मशक्कत करनी पड़ी। धनतेरस पर सभी बाजार आकर्षक रोशनी और सजावट से अलग ही छटा बिखेर रहे थे।सोने और चांदी के भाव लगातार ऊंचे बने हुए हैं, बावजूद इसके ग्राहकों का रुझान कम नहीं हुआ है। सर्राफा बाजारों में हल्की ज्वेलरी से लेकर निवेश योग्य सोना-चांदी की खरीददारी जमकर हुई। ज्वैलर्स ने बताया कि इस बार ग्राहकों ने हल्के गहनों और सिक्कों की खरीदारी की। बाजार में नई डिजाइन की ज्वेलरी की मांग रही। वहीं इस साल जयपुर में चांदी के सिक्कों के साथ 20 ग्राम के चांदी के लक्ष्मी-गणेश भी डिमांड में है। चांदी के मछली-हाथी भी इस साल ट्रेंड में है। जयपुर, जोधपुर, अलवर, अजमेर, उदयपुर, जोधपुर सहित तमाम जिलों के मार्केट में चहल-पहल है। वहीं कार-बाइक और इलेक्ट्रिक सामान पर जीएसटी रेट कट का असर भी नजर आ रहा है। जयपुर में मोती डूंगरी मंदिर में करीब तीन हजार कार और बाइक पूजन के लिए पहुंची।धनतेरस पर वाहन खरीदने की परंपरा को देखते हुए दोपहिया वाहनों के शोरूम पर विशेष रौनक दिखाई दी। हजारों की संख्या में ग्राहकों ने अपनी पसंदीदा गाडिय़ों की बुकिंग पहले से ही करा दी थी। धन तेरस का गाड़ी प्राप्त की। सभी बड़े शोरूम को आकर्षक ढंग से सजाया गया। कंपनियों ने ऑफर भी खूब दिए।दीपावली पर स्वदेशी उत्पादों को बढ़ावा देने की मुहिम का असर बाजारों में साफ दिखाई दिया। मिट्टी के दीयों, मोमबत्तियों और हैंडमेड झालरों की खरीदारी जमकर हुई। युवाओं का कहना है कि इस बार वे चाइनीज झालरों की जगह स्वदेशी उत्पादों से घर सजाएंगे, ताकि स्थानीय कारीगरों की दीपावली भी रोशन हो सके।ज्योतिषाचार्यों के अनुसार इस साल धनतेरस पर पूर्वाफाल्गुनी और उत्तरा फाल्गुनी नक्षत्र का योग बना। उत्तराफाल्गुनी नक्षत्र शाम 5:09 बजे से प्रारंभ हुआ, जो सूर्य का प्रभावशाली नक्षत्र है और यह आत्मबल, व्यवसाय और समृद्धि बढ़ाने वाला माना गया। कार्तिक कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी को समुद्र मंथन के समय माता लक्ष्मी और धन्वंतरि देव प्रकट हुए थे। इसी कारण इस दिन को लक्ष्मी पूजन और आयुर्वेद दिवस के रूप में भी मनाया जाता है।फोर्टी अध्यक्ष सुरेश अग्रवाल का कहना है है कि बाजार में माहौल अच्छा रहा। अच्छे मानसून के बाद सरकारी कर्मचारियों के वेतन भत्तों से धनतेरस पर बाजार में अच्छे व्यापार हुआ। बाजार पर सबसे ज्यादा असर जीएसटी की दरों में कटौती का रहा। इससे उपभोक्‍ता वस्‍तुओं की कीमतों में 10 प्रतिशत तक कमी आई है। सबसे बड़ी बात है कि इससे बाजार में सकारात्मक माहौल बना रहा। इससे पिछली बार की तुलना में इस बार करीब 15 से 20 प्रतिशत व्यापार ज्यादा व्यापार हुआ। वहीं धनतेरस पर जयपुर में 5 से 6 हजार करोड़ का कारोबार हुआ है। इसमें 2 हजार करोड़ के वाहन, करीब 2 हजार करोड़ की प्रॉपर्टी, 3 सौ करोड़ का सोने-चांदी के आइटम, 5 सौ करोड़ के इलेक्‍ट्रॉनिक्‍स आइटम, 100 करोड़ के परिधान, 50 करोड़ के बर्तन, 50 करोड़ की मिठाई, नमकीन, ड्राई फ्रूट्स, 200 करोड़ का फर्नीचर और फर्निशिंग आइटम, 100 करोड़ की लाइट्स और सौ करोड़ का गिफ्ट,50 करोड़ के पटाखे , 50 करोड़ के अन्‍य के साथ अन्य व्यापार शामिल है।

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